तुलसी सर्दी-जुकाम, खॉसी और श्वास सम्बंधी रोग के लिए लाभकारी है

देशभर के अधिकांश जगह तुलसी का विशेष महत्व है। भारतीय संस्कृति में तुलसी को बहुत अधिक मान्यता है, धार्मिक महत्व के साथ-साथ तुलसी औषधीय गुणों से भी भरपूर है। आयुर्वेद में तो तुलसी को उसके औषधीय गुणों के कारण विषेश महत्व दिया गया है। तुलसी ऐसी औषधि है जो ज्यादातर बीमारियों में काम आती है। परन्तु सर्दियों में इसका महत्व और ही बझ़ जाता है। तुलसी के उपयोग से सर्दी-जुकाम, खॉसी और श्वास सम्बंधी रोग के लिए बहुत ही लाभकारी माना जाता है। बाजार में खांसी के अनेकों सिरप मिलते हैं, जिनमें तुलसी होती है, किन्तु इनके अपेक्षा तुलसी के घरेलू उपचार अधिक लाभकारी हैं। जैसा कि आप जान ही चुके हैं कि तुलसी में एंटीइंफ्लेमेटरी व एंटीऑक्सीडेंट गुण पाए जाते हैं, जो श्वासनली से जुड़ी समस्याओं में कारगर साबित हो सकते हैं। इसलिए, खांसी के लिए तुलसी पर भरोसा किया जाता हैं। इसके लिए आप तुलसी की कुछ पत्तियों को पानी में उबालकर इस पानी को पिएं। इससे आपको आराम मिल सकता है। अगर आपको सर्दी लग रही है, तो आप तुलसी की पत्तियां चबा सकते हैं। इसके अलावा, तुलसी के पत्तों की चाय भी पी सकते हैं। इससे आपको सर्दी लगने में राहत मिल सकती है। मौसम में बदलाव होने, कुछ भी ठंडा खाने, धूम्रपान करने या फिर एलर्जी के कारण गले में खराश होने लगती है। धूम्रपान को छोड़ दिया जाए, तो अन्य कारणों पर हमारा बस नहीं चल सकता। इसलिए, गले में खराश होने पर आप होली बेसिल की पत्तियों को औषधि के तौर पर प्रयोग कर सकते हैं। श्वास व गले से संबंधित कोई भी समस्या होने पर तुलसी का प्रयोग किया जा सकता है। इसके लिए, आप पानी में तुलसी की पत्तियों को पानी में डालकर उबाल लें और फिर उसे पिएं। साथ ही आप इस पानी से गरारे भी कर सकते हैं।


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