भावी पीढ़ी को ‘स्वच्छ वातावरण, शान्तिपूर्ण विश्व व्यवस्था एवं सुरक्षित भविष्य का अधिकार अवश्य मिलेगा- मुख्य न्यायाधीशों व न्यायाधीशों की आम राय
सिटी
मोन्टेसरी स्कूल लखनऊ द्वारा आयोजित
‘विश्व के मुख्य
न्यायाधीशों के 23वें
अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन’
के तीसरे दिन
न्यायाधीशों व अन्य
प्रख्यात हस्तियों ने एक
स्वर से कहा
कि यह सम्मेलन
बच्चों के भविष्य
व उनकी भलाई
को ध्यान में
रखते हुए आयोजित
किया जा रहा
है ।सम्मेलन के
तीसरे दिन आज
सी.एम.एस.
कानपुर रोड ऑडिटोरियम
में सम्पन्न हुई
न्यायविद्दों की
चर्चा-परिचर्चा में
विभिन्न देशों के न्याय
विद्दों व कानून विद्दों ने सारगर्भित
विचार रखते हुए
विश्व के ढाई
अरब बच्चों के
सुरक्षित भविष्य के अधिकार
का पुरजोर समर्थन
किया। इस अवसर
पर इण्टरनेशनल क्रिमिनल
कोर्ट, नीदरलैंड के सेकेण्ड
वाइस-प्रेसीडेन्ट, डॉ
एंटोनी केसिया-एमबी मिंडुआ
ने कहा कि
शिक्षा बच्चों को भविष्य
के लिए तैयार
करती है और
उन्हें विभिन्न प्रकार की
परिस्थितियों एवं चुनौतियों
से निपटने की
क्षमता प्रदान करती है।
शान्ति के अभाव
में बच्चों का
भविष्य सुरक्षित नहीं रखा
जा सकता है।
श्री डिविनो रोबर्टो
वेरिसिनो, प्रेसीडेन्ट, ओ.पी.ओ. ब्राजील
ने कहा कि
हमें स्वार्थरहित प्रेम
की आवश्यकता है।
हैती के पूर्व
प्रधानमंत्री श्री जीन
हेनरी सेन्ट ने
अपने संबोधन में
कहा कि हमें
यह समझना एवं
स्वीकार करना होगा
कि विश्व को
बचाना ही पर्याप्त
नहीं है। बच्चों
की सुरक्षा, पर्यावरण
की रक्षा, सामाजिक
न्याय, समानता, एकजुटता आदि
मुद्दों को प्राथमिकता
देना होगा। इस
अवसर पर सोमालिया
सुप्रीम कोर्ट के जज,
न्यायमूर्ति श्री अब्दिकादिर
इदिरिस एसा, नाइजीरिया
सुप्रीम कोर्ट के चीफ
जस्टिस न्यायमूर्ति श्री ओलुकायोदे
अरिवूला, अंगोला सुप्रीम कोर्ट
के प्रेसीडेन्ट, जस्टिस
डॉ जोएल लियोनार्डा
एवं जमैका सुप्रीम
कोर्ट की जज
न्यायमूर्ति सुश्री सोनिया एंजेला
बर्ट्राम लिंटन ने भी
अपने विचार व्यक्त
किए।यह परिचर्चा सी.एम.एस. संस्थापक
व प्रख्यात शिक्षाविद्
डा. जगदीश गाँधी
के संयोजकत्व में
सम्पन्न हुई, जिसका
संचालन डा. शिशिर
श्रीवास्तव, हेड, इण्टरनेशनल
रिलेशन्स, सी.एम.एस., ने
किया। इस परिचर्चा
में टर्की के
येडीटेप यूनिवर्सिटी के वाइस-डीन डा.
आर. बारिश इर्मान,
प्रो. तैस्या पेगोडावा,
हेड ऑफ डेवलपमेन्ट
प्रोग्राम, टूमेन यूनिवर्सिटी, रूस
एवं सी.एम.एस. संस्थापिका-निदेशिका डा. भारती
गाँधी समेत कई
शिक्षाविद्दों ने
अपने विचार व्यक्त
किये। परिचर्चा के
उपरान्त सी.एम.एस.प्रेसीडेन्ट
प्रो. गीता गाँधी
किंगडन ने धन्यवाद
ज्ञापित किया।इसके अलावा, इस
ऐतिहासिक अन्तर्राष्ट्रीय मुख्य न्यायाधीश सम्मेलन
के तीसरे दिन
आज 57 देशों से
पधारे न्यायविदों व
कानूनविदों ने विभिन्न
पैरालल सेशन्स में जमकर
चर्चा परिचर्चा की।
जहाँ एक ओर
‘क्रिएटिंग कल्चर ऑफ यूनिटी
एण्ड पीस’ थीम के
अन्तर्गत ग्लोबल सिटीजनशिप एजूकेशन,
लिमिटेशन्स आफ इण्टरनेशनल
कोर्ट ऑफ जस्टिस
एण्ड इण्टरनेशनल क्रिमिनल
कोर्ट, रिलेशनशिप बिटवीन इण्टरनेशनल
लॉ एण्ड डोमेस्टिक
लॉ आदि विषयों
पर गहन विचार-विमर्श हुआ। ‘इस
ऐतिहासिक सम्मेलन के चौथे
दिन का उद्घाटन
कल 21 नवम्बर, सोमवार
को प्रातः 9.00 बजे
उप-मुख्यमंत्री श्री
केशव प्रसाद मौर्य
द्वारा सी.एम.एस. कानपुर
रोड ऑडिटोरियम में
किया जायेगा।
