भाई दूज धूमधाम से मनाई गई

शास्त्रों के अनुसार होली के अगले दिन भाई को तिलक करने से भाई को सभी प्रकार के संकटों से मुक्ति मिलेगी

होली के बाद भाईदूज का त्यौहार चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की द्वितीया तिथि को मनाया गया है

- राजेंद्र कुमार जिला ब्यूरो चीफ, झांसी एवं छायाकर विष्णु प्रजापति

बरूआसागर जनपद झांसी में होली के बाद भाईदूज का त्यौहार चैत्र माह के कृष्ण पक्ष की द्वितीया तिथि को मनाया गया है। इस साल होली की भाई दूज 27 मार्च, बुधवार को मनाई गई। इसे भातृ द्वितीया के नाम से भी जाना जाता है। यह त्योहार भाई-बहनों के बीच स्नेह बन्धन को सुदृढ़ करता है। होली की दूज का महत्व जिस तरह से दीपावली के बाद भाईदूज मनाकर भाई की लम्बी उम्र के लिए कामना की जाती है। और उसे नर्क की यातनाओं से मुक्ति दिलाने के लिए उसका तिलक किया जाता है। उसी प्रकार होली के बाद भाई का तिलक करके होली की भाईदूज मनाई गई है। जिससे उसे सभी प्रकार के संकटों से बचाया जा सके। शास्त्रों के अनुसार होली के अगले दिन भाई को तिलक करने से भाई को सभी प्रकार के संकटों से मुक्ति मिलेगी।



 

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