गीता का सार जीवन मे उतारे: योगेश्वराचार्य

ज्यादा लोगों से प्रेम से बचना चाहिये इससे जीवन बरबाद होता है, सत्य-परमात्मा से जुड़े

गीता निष्काम कर्म का दर्शन है

- प्रमोद कुमार

संगीतमय श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान सप्ताह का आयोजन जनपद जौनपुर स्थित मुंगराबादशाहपुर के कथा स्थल राधेश्याम पैलेस में कथा वाचक योगेश्वराचार्य महाराज व सगत में आर्गन पर विराज, तबला-सशील, पैड पर राजेन्द्र, वायलिन-उपेन्द्र, वैजो- रोहित की मधुर संगीत धुन व गायन के मध्य हर्षोल्लास व भक्तिभाव के साथ सम्पन्न हुआ। कथा वाचक योगेश्वराचार्य, पूर्व बाइस चैयरमेन न.पा. रमेशचन्द पाण्डे एडवोकेट, कैलाश पाण्डेय, उमा पाण्डेय, हीरावती पाण्डे, मनोज पाण्डेय आदि ने श्रीमद् भागवत कथा के मर्म को विस्तार से श्रोताओं को बताया और कहा, भागवत गीता ऐसा अद्भुत ग्रन्थ है जो विद्वान, दर्शन शास्त्र के पंडितों के लिए ही नहीं है, यह सबके लिए है। 

गीता निष्काम कर्म का दर्शन है, बहुत सारे लोगों से प्रेम से बचना चाहिए इससे जीवन बरबाद हो जाता है। परमात्मा सत्य को जानना चाहिए। कथा व्यास योगेश्वराचार्य ने कहा धर्मग्रन्थो, गीता का सार जीवन मे उतारे तथा मानव, देश समाज के कल्याण विकास में आगे आये। समाजसेवी तारा पाण्डेय, सुनीता पाण्डेय कंचन पाण्डेय ने बताया कि गीता में कर्म पर विशेष जोर दिया गया है कर्म अपने धर्म, कर्तव्य के पालन के लिए करना चाहिये। सिर्फ कर्म ही हमारा अधिकार है, उसके फल पर नहीं।

पूर्व सांसद वी.पी. सरोज, सीमा द्विवेदी, पूर्व उपनिदेशक सूचना प्रमोद कुमार, राजेश कुमार पाण्डेय, पंकज पाण्डेय, ममता, सुनीता, डा. सौरभ, प्रतिमा, विकास, संध्या, गौरव, वृजेश कुमार पाण्डेय, गुजन, कंचन पाण्डेय, नीलम पाण्डेय, उप प्रबन्धक इंजी. अमित माला पाण्डेय आदि सहित बड़ी संख्या में गणमान्यजन भी उपस्थित रहे। 

कार्यक्रम में सैकडां लोगों ने प्रतिदिन प्रसाद भण्डारा में पूड़ी, सूजी का हलुआ केले, सेव, आलू की सब्जी आदि ग्रहण भी किया। संगीतमय भजनों के दौरान कई महिलायें-पुरूष अपने को नृत्य करने से भी नहीं रोक पाये। लखनऊ बनारस, बाराबंकी रूद्रपुर रायबरेली से पहुंचे श्रद्धालु संजय गौतम, शक्ति कृष्ण त्रिपाठी प्रीति त्रिपाठी, सम्पादक संदीप कुमार श्रवण कुमार, के. कर्ण, सत्येन्द्र कुरील, शशि कोविद, डा. दीपक, अर्जुन यादव आदि ने आयोजित कार्यक्रम को सराहा और परस्पर एक दूसरे की भावनाओं का सम्मान किया।



 

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

जन्म कुंडली में वेश्यावृति के योग

भृगु संहिता के उपचार

हारिये न हिम्मत, बिसारिये न राम!